कब है मोहिनी एकादशी व्रत? जानें तिथि, पूजा मुहूर्त एवं पारण का समय


मोहिनी एकादशी व्रत वैशाख शुक्ल एकादशी तिथि को रखा जाता है. इस तिथि को भगवान विष्णु ने मोहिनी स्वरूप धारण किया था. जानते हैं मोहिनी एकादशी व्रत की तिथि, पूजा मुहूर्त एवं पारण समय के बारे में.

मोहिनी एकादशी व्रत वैशाख माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को रखा जाता है. भगवान विष्णु ने वैशाख शुक्ल एकादशी को मोहिनी स्वरूप धारण किया था, इसलिए इस दिन मोहिनी एकादशी व्रत रखा जाता है. सभी व्रतों में एकादशी व्रत को विशेष मानते हैं. इस दिन भगवान विष्णु के मोहिनी स्वरुप की पूजा करते हैं और व्रत रखते हैं. इस व्रत को करने से सभी दुख और पाप से मुक्ति मिलती है. इस व्रत के कथा का पाठ करने मात्र से ही 1000 गायों के दान करने के बराबर पुण्य मिलता है. पुरी के ज्योतिषाचार्य डॉ. गणेश मिश्र से जानते हैं मोहिनी एकादशी व्रत की तिथि, पूजा मुहूर्त एवं पारण समय के बारे में.

मोहिनी एकादशी 2022 तिथि : पंचांग के अनुसार, इस साल वैशाख माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी ति​थि का प्रारंभ 11 मई दिन बुधवार को शाम 07 बजकर 31 मिनट से हो रहा है. यह ति​थि अगले दिन 12 मई को शाम 06 बजकर 52 मिनट तक है. ऐसे में उदयाति​थि के आधार पर मोहिनी एकादशी व्रत 12 मई दिन गुरुवार को रखा जाएगा.

मोहिनी एकादशी 2022 पूजा मुहूर्त : मोहिनी एकादशी के दिन गुरुवार है, जो भगवान विष्णु की पूजा अर्चना के लिए समर्पित है. ऐसे में मोहिनी एकादशी पर गुरुवार दिन का संयोग है. इस दिन रवि योग सुबह 05 बजकर 32 मिनट से प्रारंभ होकर शाम 07 बजकर 30 मिनट तक है. ऐसे में आप मोहिनी एकादशी व्रत की पूजा प्रात:काल से ही कर सकते हैं.

मोहिनी एकादशी 2022 पारण समय : जिन लोगों को मोहिनी एकादशी व्रत का पारण 12 मई को करना है, वे लोग अगले दिन 13 मई शुक्रवार को सूर्योदय के बाद पारण कर सकते हैं. इस दिन पारण का समय सुबह 05 बजकर 32 मिनट से सुबह 08 बजकर 14 मिनट तक है. 13 मई को द्वादशी तिथि का समापन शाम को 05 बजकर 42 मिनट पर होगा.

मोहिनी एकादशी व्रत का महत्व : मोहिनी एकादशी का व्रत करने से व्यक्ति को पाप और उसके कष्टों से मुक्ति मिलती है. भगवान विष्णु की कृपा से मृत्यु के बाद मोक्ष प्राप्त होता है. मोहिनी एकादशी व्रत कथा को सुनने मात्र से ही एक हजार गायों के दान करने के बराबर पुण्य प्राप्त होता है.

Disclaimer : इस लेख में दी गई जानकारियां और सूचनाएं सामान्य मान्यताओं पर आधारित हैं. इन पर अमल करने से पहले संबधित विशेषज्ञ से संपर्क करें

साभार-news18



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