लखनऊ. राजधानी के 163 भवन स्वामियों/अध्यासियों की चल-अचल संपत्ति पर नगर निगम कुर्की की कार्रवाई करने जा रहा है। इन पर सभी पर हजारों रुपये का गृहकर बकाया है। इस सम्बंध में नगर आयुक्त अजय कुमार द्विवेदी ने बाकायदा अखबारों में इश्तेहार भी दिया है। इसमें कहा गया है कि अगर सम्बंधित भवन स्वामियों ने तय तारीख से पहले बकाया बिल नहीं जमा किया तो निगम अधिनियम 1959 के तहत कुर्की की कार्रवाई की जाएगी। नगर आयुक्त की ओर से जारी विज्ञापन में बकायेदारों का नाम और उन पर कितने रुपए का गृहकर बकाया है और जमा करने की अंतिम तारीख स्पष्ट रूप से बताई गई है। 15 दिसम्बर से 18 जनवरी के बीच अलग-अलग क्षेत्र के लोगों के लिए अलग-अलग तारीख तय की गई है।
नगर आयुक्त की ओर जारी इश्तेहार में कहा गया है कि नगर निगम अधिनियम 1959 की धारा 504 एवं 506 के तहत गृहकर बकायेदारों को बिल एवं मांग नोटिस नियमानुसार दी गई थी। अब अधिनियम 1959 की धारा 507, 509 व 513 के तहत वारंट जारी करते हुए बकाये की धनराशि की वसूली हेतु चल/अचल संपत्ति की कुर्की की कार्यवाही निर्धारित तिथि पर की जाएगी। अन्यथा की स्थिति में नगर निगम अधिनियम 1959 की धारा 517 के अंतर्गत माननीय न्यायालय में वाद प्रस्तुत कर दिया जाएगा।
ऐसे बच सकते हैं कुर्की से नगर आयुक्त ने अजय कुमार द्विवेदी जारी आदेश में बताया है कि जो भवन स्वामी/अध्यासी निर्धारित तिथि से पहले 500 रुपए प्रकाशन शुल्क और बकाये की धनराशि नगर निगम कार्यालय में जमा कर देंगे। उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई नहीं की जाएगी।
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