*बाज़ार में प्लास्टिक के कई विकल्प उपलब्ध हैं लेकिन उन सभी को निपटाने की एक बड़ी समस्या है. तो चलिए, प्लास्टिक के इन विकल्पों की कमियां और उनके समाधान के बारे में विचार करें.*
हम सभी प्लास्टिक पर निर्भर हैं. यह शाप नहीं, बल्कि एक वरदान है. लेकिन, कई सालों से प्लास्टिक की क्षमता को समझना भूल गए हैं, न केवल हमारे लिए, लेकिन पर्यावरण के लिए भी. हम प्लास्टिक रीसाइक्लिंग का महत्व ही भूल गए हैं. हम सभी इस बात से सहमत हैं कि प्लास्टिक रीसाइक्लिंग से पर्यावरण और लोगों के स्वास्थ्य को कई सारे फायदे होते हैं. दिन प्रतिदिन प्लास्टिक की बढ़ती मात्रा को देख, बिना प्लास्टिक की दुनिया की कल्पना ही नहीं होती. बाज़ार में प्लास्टिक के कई विकल्प उपलब्ध हैं लेकिन उन सभी को निपटाने की एक बड़ी समस्या है. तो चलिए, प्लास्टिक के इन विकल्पों की कमियां और उनके समाधान के बारे में विचार करें.
पीईटी या फिर पॉलीइथीलीन टेरेफ्थेलेट एक थर्मोप्लास्टिक पॉलीमर है जो पॉलिएस्टर परिवार से संबंधित है और सभी प्लास्टिक बोतलों, पेय, और कंटेनरों में इसका इस्तेमाल किया जाता है. पीनट बटर, तेल, घी, सॉफ्ट और कोल्ड ड्रिंक, हैंड वाश, साबुन जैसे सभी उत्पाद की पैकेजिंग में पीईटी होता है. इसमे मौजूद मजबूत घटकों और हल्के वज़न के कारण बड़े निर्माता पीईटी का उपयोग करते हैं, जिससे उत्पादों की डिलिवरी में भी आसानी रहती है.
सुरक्षा परीक्षणों का संचालन करने वाले कई स्वास्थ्य संगठनों की मानें तो, सभी खाद्य एवं पेय पदार्थों और दवा उत्पादों की पैकेजिंग में पीईटी का उपयोग सुरक्षित माना जाता है. पीईटी का उपयोग करने के कुछ फायदे इस प्रकार हैं:
- यह किसी भी तरह के सूक्ष्म जीवों के लिए प्रतिरोधी है.
- इसके अंदर रखे गए किसी भी पदार्थ की बाहरी तत्व छेड़छाड़ नहीं कर सकते. यानि की, इन पदार्थ का जैव क्षरण(बायोडेग्रेडेशन) नहीं होगा.
- पीईटी राल बनाने के लिए रासायनिक रूप से इसके घटकों को तोड़ कर अन्य पीईटी सामग्री बनाने या फिर इसे धो कर या पिघलाकर रिसाइकल किया जा सकता है.
पीईटी की सुविधा के साथ उपयोगकर्ता पर इसे ठीक से निपटाने की जिम्मेदारी भी आती है ताकि यह उसे रीसाइकल किया जा सके. अगर पीईटी को प्रभावी ढंग से रिसाइकल किया जाता है तो,
- ऊर्जा के उपयोग और प्रदूषण में भारी कमी आएगी क्योंकि यह ताजा कच्चे माल के इस्तेमाल को कम करता है.
- यह लैंडफिल में रखे गए वेस्ट को कम करता है जो पर्यावरण को नुकसान पहुंचाते हैं, इस प्रकार यह विश्व स्तर पर प्रदूषण को कम करता है.
सिर्फ भारत की बात करें तो, 90% से अधिक पीईटी प्लास्टिक को रिसाइकल किया जाता है.
प्लास्टिक का विकल्प है ग्लास, क्योंकि इसे आमतौर पर उपभोक्ता पैकेजिंग सामग्री के रूप में पसंद करते है. यह सभी प्राकृतिक सामाग्रीयों से बना है, जैसे कि रेत, सोडा ऐश और चूना पत्थर, और इसी कारण यह 100% रिसाइकल योग्य है. क्या आप जानते हैं कि रिसाइकल किया गया ग्लास केवल 30 दिनों में स्टोर तक पहुंच सकता है? हालांकि, ग्लास कंटेनर का उपयोग करने के कई नुकसान भी हैं.
- पीईटी पैकेजिंग की तुलना में इसका वज़न ज़्यादा होने के कारण इसकी डिलिवरी के दौरान टूटने का खतरा रहेता है.
- ग्लास के निर्माण में कच्चे माल को संसाधित करने के लिए उच्च तापमान का उपयोग शामिल है और इसी वजह से इसिके निर्माण की लागत ज़्यादा है.
- ग्लास मे छोटी दरार भी उसके भीतर सामग्री का उपभोग करने वाले को नुकसान पहोंचा सकती है.
- 20-30% ग्लास कभी भी रीसाइक्लिंग तक नहीं पहुंचता और लैंडफिल में पड़ा रहेता है जो काफी खतरनाक और हानिकारक हो सकता है.
- उचित सैनिटाइज़ेशन प्रक्रिया के बिना, सूक्ष्मजीव बायोफ़िल्म्स के रूप में सतह पर विकसित हो सकते हैं, जिससे संभावित स्वास्थ्य खतरे हो सकते हैं. बायोफिल्म्स बनाने वाले सूक्ष्मजीवों में बैक्टीरिया, कवक और प्रोटीस्ट शामिल होते हैं और आमतौर पर वे "समय-समय पर या लगातार पानी से ग्रस्त" वातावरण में पाए जाते हैं जो. रिसर्च से पता चला है कि बायोफिल्म बड़ी मात्रा बैक्टीरिया का वहन करती है जो की मनुष्यों के साथ-साथ जानवरों के लिए भी जानलेवा बन सकता है. ग्लास या तांबे की बोतलें जो एक बार बायोफिल्म से प्रभावित हो जातीं है तो उन्हें रोज़ाना सटीक तापमान पर 20-30 मिनट तक उबाला न जाए तब तक वें साफ नहीं होतीं.
दूसरी ओर, एल्युमीनियम पैकेजिंग का उपयोग रेडी-टू-गो हॉट फूड परोसते फास्ट-फूड चैन में काफी तेज़ी से बढ़ रहा है और फ्रोजन कंटेनर में भी इसका उपयोग किया जाते है. इसकी अभेद्य मेटल बेरियर के कारण, यह खानें को यूवी किरणों, सूक्ष्म जीवों, रिसाव, तेलों आदि से बचाता है और लंबे समय तक चलने का वादा करता है. हालांकि, एल्यूमीनियम का उपयोग करने में भी कुछ समस्याएं हैं:
- एल्युमिनियम को निकालने से लेकर उसे प्रोसेस करने तक, पर्यावरण को बहुत नुकसान पहुंचता है.
- उद्योगों में उत्पादों को गलाने से बहुत सारी ग्रीनहाउस गैसें निकलती हैं जो ग्लोबल वार्मिंग को बढ़ाती हैं.
- निश्चित रूप से, यह 10% रिसाइकल योग्य है, लेकिन यह भी आखिरकार लेंडमाइन में चला जाता है और जब अन्य वेस्ट के साथ मिलने पर पर्यावरण में हानिकारक पदार्थों छोडता हैं.
पर्यावरणीय चिंताओं के कारण कई निर्माताओनें पर्यावरण-अनुकूल उत्पादन प्रक्रिया को अपनाना शुरू कर दिया है. इसका एक उदाहरण है पैकेजिंग के रूप में कागज का उपयोग. कागज को बहुत कम लागत पर बड़े पैमाने पर उत्पादित किया जा सकता है. लेकिन, यह पीईटी, एल्यूमीनियम और ग्लास की तुलना में बायोडिग्रेडेबल पदार्थों के लिए एक अच्छी पैकेजिंग सामग्री नहीं है क्योंकि:
- यह वाटर-प्रूफ नहीं है.
- इसमे बाहरी तत्व आसानी से प्रवेश कर सकते है.
- कागज का उपयोग करने का मतलब होगा पेड़ों को काटना जो केवल पर्यावरण को नुकसान ही पहुंचाएंगे.
इसके बावजूद, यह अपनी बायोडिग्रेडेबल और रिसाइकल करने योग्य संपत्ति के कारण प्लास्टिक का एक बेहतर विकल्प है. यह आसानी से ऐसे छोटे उत्पादों को ले जाने के लिए इस्तेमाल किया जा सकता है जो पानी आधारित नहीं हैं. यह निश्चित रूप से एक सस्ता विकल्प है. लेकिन, अगर इसे ठीक से रिसाइकल नहीं किया जाता है, तो यह लैंडफिल में चला जाएगा.
पीईटी, कांच, धातु और कागज के कंटेनरों के फायदें और नुकसान की तुलना की जाए तो प्रभावी ढंग से रिसाइकल किए जाने पर पीईटी श्रेष्ठ विकल्प साबित होता है. पीईटी में कम कार्बन उत्सर्जन होता है और कांच की तुलना में वजन में भी हल्का होता है जो इसे पैकेजिंग के लिए उपयुक्त बनाता है. पीईटी को FDA, हेल्थ केनेडा, EFSA और अन्य स्वास्थ्य एजेंसियों द्वारा खाद्य पदार्थों और पेय पदार्थों के संपर्क के लिए सुरक्षित बताया है. भारत में उपयोग किए जाने वाले अधिकांश पीईटी को रिसाइकल किया जाता है, इसी कारण बहुत सारे प्राकृतिक संसाधनों का संरक्षण भी हो रहा है और पीईटी को फिर से बनाने के लिए आवश्यक कच्चे माल को इकट्ठा करने की आवश्यकता को कम करके प्रदूषण को भी रोका जा राजा है. ग्लास, धातु, एल्यूमीनियम, और पेपर कंटेनर पीईटी के विकल्प हैं, लेकिन हमें इस बात अनदेखा नहीं करना चाहिए कि वे पीईटी की तुलना में काफी कम मात्र में रिसाइकल होते हैं.
प्लास्टिक के सभी रूपों को रीसाइक्लिंग करके हम अपने आस पास के वातावरण को बचा सकते. और यह आपकी आदत को बदलने से हीं शुरू होगा. प्लास्टिक को इधर-उधर फेंकने के बजाय रीसाइक्लिंग के लिए भेजें. ऐसे कई सारे संगठन हैं रीसाइक्लिंग के माध्यम से सभी प्रकार की पैकेजिंग के उत्पादन के सही तरीके की दिशा में काम कर रहे हैं. इसलिए आपके योगदान से आपको रीसाइक्लिंग अर्थव्यवस्था का हिस्सा बनने में मदद मिलेगी
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