बलिया : कलश यात्रा में लाखों की संख्या में श्रद्धालुओं ने लिया भाग, जिसने भी देखा कहा भगवान लक्ष्मी नारायण की जय


बलिया। भृगुक्षेत्र बलिया में चल रहे चतुर्मास यज्ञ के उपरांत श्री जीयर स्वामी जी महाराज के सानिध्य में हो रहे पांच दिवसीय श्री लक्ष्मी नारायण महायज्ञ का जलभरी आज भब्य तरीके से निकाली गई। हाथी घोड़े गाजे बाजे के साथ लाखों की संख्या में श्रद्धालुओं ने हिस्सा लिया। जिसमें बिहार झारखंड उत्तर प्रदेश आदि जगहों से काफी संख्या में लोगों ने हिस्सा लिया। 



कलश यात्रा में राज्यसभा सांसद नीरज शेखर दयाशंकर सिंह परिवहन राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार), यज्ञ समिति के सचिव सुरेन्द्र मिश्रा, सुरेंद्र सिंह पूर्व विधायक तथा जय मां काली बखोरापुर वाली के मुख्य सरंक्षक सुनील सिंह गोपाल ने हिस्सा लिया। यज्ञ स्थल पर सुबह से ही कलश यात्रा में हिस्सा लेने के लिए काफी संख्या में महिला तथा पुरुष का जुटना शुरू हो गया था। 1:00 बजे से कलश यात्रा निकाली गई जो कि बलिया शहर होते हुए पुनः गंगा घाट से जल लेकर लोग यज्ञ स्थल पर पहुंचे। कलश यात्रा में इतनी दूर तक लंबी लाइन थी कि दूर दूर तक सिर्फ श्रद्धालु ही नजर आ रहे थे। काफी संख्या में पुलिस प्रशासन भीड़ को संभालने में लगे हुए थे। एक तरफ विशाल यज्ञ मंडप तथा दूसरी तरफ विशाल प्रवचन पंडाल में भारत के कोने-कोने से आए संत महात्मा प्रवचन कर रहे हैं। 



प्रवचन कर्ताओं में कृष्ण चंद्र ठाकुर जी, डॉ श्याम सुंदर पराशर जी, श्री अयोध्या नाथ स्वामी जी श्री मुक्तिनाथ स्वामी जी श्री बनमाली स्वामी जी प्रवचन कर रहे हैं। स्वामी जी महाराज ने लोगों को प्रवचन करते हुए बताया कि श्री लक्ष्मी नारायण महायज्ञ में हिस्सा लेने का सौभाग्य ईश्वर की कृपा होने पर ही मिल पाती है। जब ईश्वर की कृपा होती है तो किसी भी धार्मिक अनुष्ठान में जाने का मौका मिलता है। जो लक्ष्मी नारायण महायज्ञ में हिस्सा लेता है तो उसके सारे जन्मों के पाप कट जाते हैं उसके घर में दरिद्रता नहीं आती तथा लक्ष्मी का निवास होता है तथा श्री लक्ष्मी नारायण प्रभु की कृपा सदैव बनी रहती है। स्वामी जी महाराज ने कहा कि मनुष्य को अपने मर्यादा से हटकर नहीं जीना चाहिए नहीं तो फिर मनुष्य और पशु में कोई अंतर नहीं रह जाता है। मनुष्य को विषम परिस्थितियों में भी अपनी मर्यादा का परित्याग नहीं करना चाहिए।


5 अक्टूबर को अरणी मंथन के साथ यज्ञ में मंडप में यजमान प्रवेश करेंगे तथा 500 यजमान एक साथ विश्व शांति के उद्देश्य एक साथ आहुति देंगे। 8 तारीख को धर्म सम्मेलन है जिसमें भारत के कोने-कोने से साधु संत तथा विद्वान गण हिस्सा लेने आ रहे हैं और 9 अक्टूबर को यज्ञ की पूर्णाहुति है। भव्य तरीके से भंडारे का आयोजन किया जा रहा है जिसमें यज्ञ समिति के हजारों की संख्या में भक्तगण सेवा में लगे हुए हैं। सुबह से शाम तक भंडारा का आयोजन हो रहा है और स्वामी जी से दर्शन करने हेतु बिहार झारखंड उत्तर प्रदेश आदि जगहों से काफी संख्या में लोग जुट रहे हैं। पूरी यात्रा में प्रारंभ से लेकर अंतर परिवहन मंत्री दयाशंकर सिंह और राज्यसभा सांसद नीरज शेखर जी कलश यात्रियों के साथ पैदल चलते रहे। 




Post a Comment

0 Comments