प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना की मियाद को 30 नवंबर से आगे बढ़ाने की फिलहाल सरकार की कोई योजना नहीं है.
प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना के तहत मुफ्त राशन केवल 30 नवंबर तक ही मिलेगा. सरकार की इस योजना की मियाद को 30 नवंबर से आगे बढ़ाने की फिलहाल कोई योजना नहीं है. केंद्रीय खाद्य सचिव सुधांशु पांडेय के मुताबिक, अर्थव्यवस्था में सुधार और ओएमएसएस नीति के तहत खुले बाजार में खाद्यान्न की अच्छी बिक्री को देखते हुए पीएमजीकेएवाई के जरिये मुफ्त राशन वितरण को नवंबर से आगे बढ़ाने का प्रस्ताव नहीं है.
पिछले साल मार्च 2020 में कोरोना महामारी के पहले लहर से पैदा हुये सकंट के मद्देनजर मुफ्त अनाज उपलब्ध कराने के लिये पीएमजीकेएवाई (प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना) की शुरुआत हुई थी. शुरुआत में यह योजना अप्रैल-जून 2020 की अवधि के लिए शुरू की गई थी, लेकिन बाद में इसे इस साल 30 नवंबर, 2020 के लिये आगे तक बढ़ा दिया गया था. लेकिन इस वर्ष कोरोना की दूसरी लहर आने के बाद फिर से योजना को मई-जून महीने के लिये लाया गया. लेकिन बाद में सरकार ने पांच महीने के लिये और जुलाई से नवंबर, 2021 तक के लिये स्कीम को एक्सटेंशन दे दिया जिससे लोगों को मुफ्त अनाज मिल सके.
लेकिन अब सरकार का तर्क है कि, अर्थव्यवस्था उबर रही है और मुक्त बाजार बिक्री योजना (ओएमएसएस) के तहत अनाज की बिक्री भी इस साल बहुत बेहतर रही है. इसलिए पीएमजीकेएवाई का विस्तार करने का कोई प्रस्ताव नहीं है. सरकार घरेलू बाजार में उपलब्धता में सुधार और कीमतों पर अंकुश लगाने के लिए ओएमएसएस नीति के तहत थोक उपभोक्ताओं को चावल और गेहूं दे रही है.
प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना के तहत सरकार राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा कानून के तहत 80 करोड़ राशन कार्डधारकों को 5 किलो मुफ्त राशन की आपूर्ति करती है. राशन की दुकानों से उन्हें सब्सिडी वाले अनाज के अतिरिक्त मुफ्त राशन दिया जाता है.
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